-
1068
छात्र -
944
छात्राएं -
69
कर्मचारीशैक्षिक: 66
गैर-शैक्षिक: 4
परिकल्पना
- के. वि. सं. उच्च गुणवत्ता वाले शैक्षिक प्रयासों के माध्यम से उत्कृष्टता प्राप्त करने के लिए अपने छात्रों को ज्ञान/मूल्य प्रदान करने और उनकी प्रतिभा, उत्साह और रचनात्मकता का पोषण करने में विश्वास रखता है।
उद्देश्य
- शिक्षा का एक सामान्य कार्यक्रम प्रदान करके रक्षा और अर्ध-सैन्य कर्मियों सहित स्थानांतरणीय केंद्र सरकार के कर्मचारियों के बच्चों की शैक्षिक आवश्यकताओं को पूरा करना है।
- स्कूली शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्टता हासिल करने और गति निर्धारित करने के लिए।
- केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) और राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (एनसीईआरटी) आदि जैसे अन्य निकायों के सहयोग से शिक्षा में प्रयोग और नवाचारों को शुरू करना और बढ़ावा देना।
- राष्ट्रीय एकता की भावना का विकास करना और बच्चों में “भारतीयता” की भावना पैदा करना।

विद्यालय के बारे में
उत्पत्ति
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ की स्थापना वर्ष 1975 में रक्षा और अर्ध-सैन्य कर्मियों सहित स्थानांतरणीय केंद्र सरकार के कर्मचारियों की शैक्षिक आवश्यकताओं को पूरा करने एवं संज्ञानात्मक विकास हेतु, 3 ईएमई सेंटर के सेना बैरक में की गई थी।
विद्यालय के दृष्टिकोण के बारे में
शिक्षा का एक सामान्य कार्यक्रम प्रदान करके रक्षा और अर्ध-सैन्य कर्मियों सहित स्थानांतरणीय केंद्र सरकार के कर्मचारियों के बच्चों की शैक्षिक आवश्यकताओं को पूरा करना एवं संज्ञानात्मक विकास करना ।
विद्यालय के उद्देश्य के बारे में
शिक्षा का एक सामान्य कार्यक्रम प्रदान करके रक्षा और अर्ध-सैन्य कर्मियों सहित स्थानांतरणीय केंद्र सरकार के बच्चों की शैक्षिक आवश्यकताओं को पूरा करना । स्कूली शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्टता हासिल करना और गति निर्धारित करना ।
संदेश

आयुक्त, सुश्री प्राची पाण्डेय, आईए & एएस
प्रिय शिक्षकवृंद,
शिक्षक दिवस 2025 की हार्दिक शुभकामनाएँ।
शिक्षक केवल शैक्षणिक मार्गदर्शक ही नहीं, बल्कि बच्चे के भविष्य के निर्माता होते हैं। प्रथम अक्षर लिखने से लेकर जीवन के महत्वपूर्ण निर्णयों तक वे धैर्य,सहानुभूति और सहयोग के साथ प्रत्येक कदम पर साथ चलते हैं। वे केवल मस्तिष्क ही नहीं,बल्कि मूल्य,सपने और आकांक्षाएँ भी गढ़ते हैं,जो हमारे राष्ट्र का भविष्य निर्धारित करती हैं।

श्रीमती शाहिदा परवीन
उपायुक्त
संदेश प्रिय विद्यार्थियों, अभिभावकों, शिक्षकों एवं समस्त केंद्रीय विद्यालय परिवार, सप्रेम नमस्कार। केंद्रीय विद्यालय संगठन, भोपाल संभाग की वेबसाइट पर आप सभी का हार्दिक स्वागत है। यह प्लेटफ़ॉर्म न केवल सूचना और संसाधनों का केंद्र है, अपितु यह हमारे साझा शैक्षिक दृष्टिकोण, मूल्यों और प्रयासों का प्रतिबिंब भी है। मुझे यह संदेश साझा करते हुए अत्यंत हर्ष हो रहा है कि केंद्रीय विद्यालय संगठन, भोपाल संभाग, केविसं (मु०) नई दिल्ली के दिशा-निर्देशन में निरंतर राष्ट्रीय शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्टता के उच्चतम मानदंडों को स्थापित करने के अपने लक्ष्य की ओर अग्रसर है। भारत जैसे विविधता-सम्पन्न देश में शिक्षा केवल ज्ञान का माध्यम नहीं है, यह सामाजिक समरसता, नैतिक मूल्यों, और राष्ट्र के प्रति कर्तव्यबोध की भावना का संवाहक भी है। केंद्रीय विद्यालय संगठन की स्थापना 1963 में भारत सरकार द्वारा इस उद्देश्य से की गई थी कि सैनिकों, अर्धसैनिक बलों, केंद्रीय कर्मचारियों और अन्य स्थानांतरणीय कर्मचारियों के बच्चों को गुणवत्तापूर्ण, सतत और एकसमान शिक्षा प्रदान की जा सके। आज KVS न केवल भारत में, बल्कि विदेशों में भी शिक्षा की एक सशक्त शृंखला बन चुका है, जिसमें लाखों विद्यार्थी अध्ययनरत हैं और हजारों शिक्षक उन्हें ज्ञान, संस्कार और जीवन के मूल्य सिखा रहे हैं। हमारे देश की नई शिक्षा नीति (NEP 2020) शिक्षा प्रणाली में आमूलचूल परिवर्तन का आह्वान करती है। यह केवल पाठ्यक्रम और परीक्षा प्रणाली में सुधार की बात नहीं करती, बल्कि यह समावेशी, बहु-विषयक, और छात्र-केंद्रित शिक्षा की बात करती है। KVS ने NEP 2020 के मार्गदर्शक सिद्धांतों को अपनाते हुए कई महत्त्वपूर्ण पहलें प्रारंभ की हैं: • Foundational Literacy and Numeracy (FLN) को प्राथमिक कक्षाओं में लागू करना। • बहु-भाषिकता को प्रोत्साहन देना। • कला एकीकरण (Art Integration) और खेल आधारित शिक्षा (Sports Integration) को कक्षा शिक्षण में समाहित करना। 21वीं सदी के कौशल जैसे कि आलोचनात्मक सोच, समस्या समाधान, रचनात्मकता और डिजिटल साक्षरता पर बल देना। ये सभी प्रयास विद्यार्थियों को न केवल परीक्षा के लिए, बल्कि जीवन के लिए तैयार करने के उद्देश्य से किए जा रहे हैं। हमारे कार्यरत शिक्षकगण न केवल ज्ञान के दाता हैं, बल्कि वे एक संरक्षक, मार्गदर्शक और प्रेरक की भूमिका भी निभाते हैं। एक शिक्षक की भूमिका अब केवल पाठ्यक्रम पढ़ाने तक सीमित नहीं रह गई है। वे विद्यार्थियों में जिज्ञासा उत्पन्न करते हैं, उन्हें आत्म-शिक्षण के लिए प्रेरित करते हैं, और एक उत्तरदायी नागरिक के रूप में ढालते हैं। हमारे शिक्षकगण निरंतर प्रशिक्षण कार्यक्रमों, कार्यशालाओं और नवाचारों के माध्यम से अपने शिक्षण को अद्यतन और प्रभावी बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध हैं। हमें गर्व है कि हमारे विद्यालयों में ऐसे शिक्षक कार्यरत हैं, जो बच्चों के उज्ज्वल भविष्य के लिए निरंतर समर्पित रहते हैं। KVS के विद्यार्थी पूरे देश में अपनी योग्यता, अनुशासन और नैतिक मूल्यों के लिए पहचाने जाते हैं। विभिन्न बोर्ड परीक्षाओं में उत्कृष्ट प्रदर्शन, विज्ञान, खेल, कला, और संस्कृति के क्षेत्रों में उल्लेखनीय उपलब्धियाँ, तथा राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय मंचों पर KVS के छात्रों की उपस्थिति हमें गर्व से भर देती है। हमारा प्रयास है कि हर विद्यार्थी की विशेषताओं और रुचियों को समझते हुए उन्हें उस दिशा में अवसर प्रदान किए जाएँ, ताकि वे अपनी पूरी क्षमता तक पहुँच सकें। विद्यालयों में अब केवल किताबी ज्ञान पर ज़ोर नहीं, बल्कि समग्र विकास (Holistic Development) को प्राथमिकता दी जा रही है। वर्तमान युग डिजिटल क्रांति का युग है। शिक्षा भी इससे अछूती नहीं रही है। विशेष रूप से COVID-19 महामारी के दौरान, KVS ने तकनीक को अपनाते हुए ऑनलाइन शिक्षा के क्षेत्र में सराहनीय पहल की। हमने ई-कंटेंट, वर्चुअल क्लासरूम्स, शिक्षकों द्वारा बनाए गए डिजिटल संसाधन, और स्वयं पोर्टल जैसे प्लेटफॉर्म्स को प्रभावी रूप से अपनाया। भविष्य में भी हम तकनीक के माध्यम से शिक्षण और अधिगम को और अधिक रोचक, समावेशी और प्रभावशाली बनाने की दिशा में कार्य कर रहे हैं। इसके अतिरिक्त, हमारे विद्यालयों में नवाचार को प्रोत्साहित करने के लिए ATL (Atal Tinkering Labs), Coding Clubs, Robotics Workshops जैसी गतिविधियाँ संचालित की जा रही हैं। KVS प्रशासनिक और शैक्षणिक गतिविधियों में पारदर्शिता, जवाबदेही और सामुदायिक सहभागिता को अत्यंत महत्त्व देता है। विद्यालय प्रबंधन समितियों में अभिभावकों की भागीदारी, विद्यालय स्तर पर खुली बैठकों का आयोजन, और अभिप्राय संग्रहण की प्रक्रिया हमें हमारी कार्यप्रणाली में सुधार के लिए मार्गदर्शन प्रदान करती है। हम अभिभावकों से अनुरोध करते हैं कि वे विद्यालय की गतिविधियों में सक्रिय भाग लें, शिक्षकों से संवाद बनाए रखें और अपने बच्चों को सकारात्मक वातावरण प्रदान करें। KVS का लक्ष्य न केवल अकादमिक उत्कृष्टता है, बल्कि ऐसी शिक्षा व्यवस्था का निर्माण करना है जो: • विद्यार्थियों को वैश्विक नागरिक बनाए, • उनमें संवेदनशीलता और सहानुभूति का भाव विकसित करे, • उन्हें नवाचार और उद्यमिता की ओर प्रेरित करे, • तथा भारत की गौरवशाली सांस्कृतिक विरासत को आत्मसात करते हुए आधुनिक तकनीक के साथ कदम से कदम मिलाकर चलना सिखाए। हम यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि हमारे विद्यालय “ज्ञान, चरित्र और सेवा” के त्रिसूत्रीय मंत्र को आत्मसात करें और एक ऐसे भारत के निर्माण में योगदान दें जो शिक्षित, सशक्त और समृद्ध हो। अंत में, मैं सभी विद्यार्थियों को यह संदेश देना चाहती हूँ कि अपने सपनों को साकार करने के लिए कठोर परिश्रम, अनुशासन और आत्म-विश्वास को अपना साथी बनाइए। हर चुनौती आपके लिए एक अवसर है, और हर असफलता सीखने की एक सीढ़ी। शिक्षकों से अपेक्षा करती हूँ कि वे विद्यार्थियों के जीवन को मूल्यवान और अर्थपूर्ण बनाने में अपनी भूमिका को दृढ़ता से निभाएँ। अभिभावकों से अनुरोध है कि वे विद्यालय के साथ मिलकर एक सशक्त भविष्य निर्माण में सहयोग करें। आइए, हम सब मिलकर एक ऐसे शैक्षिक वातावरण का निर्माण करें जहाँ प्रत्येक विद्यार्थी स्वाभिमानी, सक्षम और संवेदनशील नागरिक बनकर राष्ट्र की सेवा में अपना योगदान दे सके। धन्यवाद। (शाहिदा परवीन) उपायुक्त केंद्रीय विद्यालय संगठन भोपाल संभाग
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श्री मनीष तुली
प्राचार्य
केन्द्रीय विद्यालय संगठन, मानव संसाधन विकास मंत्रालय, भारत सरकार के अधिन एक स्वायत्त निकाय है जो सभी जन सामान्य के लिए शिक्षा का कार्य करता है. केन्द्रीय विद्यालय बैरागढ़, केन्द्रीय विद्यालय संगठन, मुख्यालय नई दिल्ली के संरक्षण में वर्ष 1977 में स्थापित किया गया है तथा क्षेत्रीय कार्यालय भोपाल के अधिनस्त दिशा निर्देश/मार्गदर्शन के अनुसार कार्यरत है विद्यालय में भारतीय विरासत, संस्कृति के अनुसार शिक्षा कि नीव रखने हेतु आधुनिक दृष्टिकोण अपनाते हुए शिक्षा अधिगम कार्य किया जाता है। विद्यार्थियों को इस तरह से तैयार किया जाता है कि वे समाज में एक जिम्मेदार व्यक्ति/नागरीक के रूप में अपने आप को स्थापीत कर सके। केन्द्रीय विद्यालय बैरागढ़ ने स्थापना से अपना अच्छी शुरूवात करते हुए आज भोपाल शहर में अन्य शिक्षण संख्याओ में अपनी छवी अच्छी शिक्षा एवं अनुशासन हेतु बनाए रखी हुई है। विद्यालय का निरंतर विकास हुआ है. विद्यालय कक्षा 1 से 12 वीं तक चार-चार वर्ग के साथ संचालीत है। कक्षा 11वी एवं 12वी में विज्ञान, वाण्ज्यि एवं कला संकाय उपलब्ध है छात्रों के सर्वागीन विकास हेतु खेलकुद, स्काउट-गाईड, कब बुल-बुल एवं पाठ्य सहगामी क्रियाए नियमीत रूप में चलाई जाती है। तथा इन सभी क्रिया कलापो मे छात्रों ने उल्लेखनीय प्रगती कि है। विद्यालय में एन.सी.सी यूनिट भी संचालीत है। आज दिनांक को विद्यालय में लगभग 1850 से भी अधिक छात्र-छात्राए अध्यनरत है। 74 नियमीत शिक्षक, 12 अंशकालीक कर्मचारी तथा 12 संविदा कर्मचारीयों से लगभग 100 लोगो का कुशल मानव संसाधन छात्रों एवं समाज के उत्थान हेतु प्रयत्नशील है। विद्यालय 13 एकड़ में फैला हुआ, चार भवनों में 48 कक्षाएं एवं 20 में अधिक अलग-अलग प्रयोगशाला एवं विभाग में संचालीत होता है। विद्यालय में बगीचा, लॉन एवं फुल पौधे वातावरण को सुदंर एवं सुखद बनाते है। संगणक कृत स्मार्ट कक्षाए, मल्टीमीडीया, सी.एम.पी. तथा नवसृजन कक्ष/कक्षाए है जो छात्रों को प्रभावित एवं उत्साहित बनाती है। साफ सुथरा ठंडा पीने का पानी तथा प्रयोग हेतु निरतंर रूप में उपलब्ध है। विद्यालय प्रबंध समिती जो विद्यालय कि प्रगती हेतु सदैव मदत के लिए तैयार रहती है। विद्यालय वि.प्र.स, पी.टी.ए. तथा सभी एलमुनाई (पूर्व स्थापित छात्र) का विद्यालय प्रगति में योगदान कि अपेक्षा करते हुए धन्यवाद ज्ञापीत करता है।
और पढ़ेंअद्यतनीकरण
- अंशकालिक शिक्षक साक्षात्कार 2025-2026 के लिए शैक्षणिक योग्यता ( पीजीटी (अंग्रेजी), स्पेशल एजुकेटर, वोकेशनल शिक्षक, आर्ट इंस्ट्रक्टर ) नई
- अंशकालिक शिक्षक साक्षात्कार हेतु Bio-Data फॉर्म नई
- अंशकालिक शिक्षक साक्षात्कार 22-08-2025 के लिए विज्ञापन (पद – स्नातकोत्तर शिक्षक (अंग्रेजी), स्पेशल एजुकेटर, वोकेशनल शिक्षक, आर्ट इंस्ट्रक्टर हेतु) नई
- कक्षा 11वीं (मानविकी) में रिक्तियों के लिए सूचना नई
- बालवाटिका-3 में कैटेगरी-1 की में 8वीं चयनित सूची नई
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शैक्षणिक योजनाकार
शैक्षणिक योजनाकार पीएम श्री केन्द्रीय विद्यालय 3 ईएमई सेंटर बैरागढ़ के अकादमिक नियोजक
शैक्षिक परिणाम
शैक्षिक परिणाम पीएम श्री केन्द्रीय विद्यालय बैरागढ़ का शैक्षणिक परिणाम
बाल वाटिका
केंद्रीय विद्यालय संगठन की प्रणाली के एक भाग के रूप में, बालवाटिका-3
निपुण लक्ष्य
निपुण भारत का पूरा नाम नेशनल इनिशिएटिव फॉर प्रोफिशिएंसी इन रीडिंग विद अंडरस्टैंडिंग एंड न्यूमेरेसी है।
शैक्षणिक हानि कार्यक्रम का मुआवजा (सीएएलपी)
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ का शैक्षणिक हानि कार्यक्रम का मुआवजा (सीएएलपी)
अध्ययन सामग्री
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ द्वारा अध्ययन सामग्री की जानकारी।
कार्यशालाएँ एवं प्रशिक्षण
पीएम श्री केन्द्रीय विद्यालय, बैरागढ़ में आयोजित कार्यशालाएं एवं प्रशिक्षण।
विद्यार्थी परिषद
छात्रों में नेतृत्व की गुणवत्ता विकसित करने के लिए, पीएम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ में एक परिषद है।
अपने स्कूल को जानें
केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ की स्थापना वर्ष 1975 में रक्षा और अर्ध-सैन्य कर्मियों सहित स्थानांतरणीय केंद्र सरकार के
अटल टिंकरिंग लैब
एटीएल एक कार्यक्षेत्र है जहां युवा दिमाग अपने विचारों को स्वयं करें मोड के माध्यम से आकार दे सकते हैं।
डिजिटल भाषा लैब
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ के पास एक सुव्यवस्थित लैंग्वेज लैब बनी हुई है।
आईसीटी - ई-क्लासरूम एवं प्रयोगशालाएँ
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ की आई सी टी की जानकारी।
पुस्तकालय
पीएम श्री केंद्रीय विद्यालय, बैरागढ़ का पुस्तकालय भव्य एवं कई सारी सुविधाओं से युक्त है ।
प्रयोगशालाएँ - भौतिकी/रसायन विज्ञान/जीवविज्ञान
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ में इंस्टॉल भौतिकी , केमिस्ट्री एवं बायोलॉजी प्रयोगशालाओं की जानकारी
भवन एवं बाला पहल
BaLA स्कूल के बुनियादी ढांचे की समग्र रूप से योजना बनाने और उसका उपयोग करने का एक तरीका है।
खेल अवसंरचना (खेल के मैदान)
विद्यालय में विद्यार्थियों के मनोरंजन एवं खेलकूद गतिविधियों को सुचारू रूप से संचालित करने हेतु फुटबाल, बास्केटबाल,
एसओपी/एनडीएमए
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय की एन डी एम ए और एस ओ पी की जानकारी।
खेल
विद्यालय के विद्यार्थियों ने खेल कूद गतिविधियों में उत्साहपूर्वक भाग लिया. कुल 65 प्रतिभागियों ने
एनसीसी/स्काउट एवं गाइड
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ में एक स्काउट/गाइड्स एवं एन सी सी की यूनिट सुचारू रूप से चल रही है ।
शिक्षा भ्रमण
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ द्वारा छात्र/छात्राओं के लिए शिक्षण भ्रमण।
ओलम्पियाड
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ के छात्रों द्वारा साइंस, गणित एवं हिंदी ओलंपियाड में भागीदारी।
प्रदर्शनी - एनसीएससी/विज्ञान/आदि
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय बैरागढ़ में छात्रा एवं छात्राओं द्वारा एन सी एस सी एवं साइंस में भागीदारी।
एक भारत श्रेष्ठ भारत
युग्मित राज्य के सांस्कृतिक इतिहास को समझने के साथ सीखना वास्तव में केवीएस के उभरते छात्रों के लिए एक
हस्तकला या शिल्पकला
कला और शिल्प बच्चों को व्यक्तित्व पर जोर देने में सक्षम बनाता है। यह उन्हें भावनाओं को व्यक्त करने और कारण एवं
मजेदार दिन
पी एम श्री केंद्रीय विद्यालय हर शनिवार को मजेदार दिन के रूप में प्राथमिक विभाग में आयोजित किया जाता है ।
युवा संसद
युवा संसद छात्रों के लिए पेश किया जाने वाला एक मंच है जहां उन्हें एक नकली संसद की व्यवस्था और संसद के
पीएम श्री स्कूल
पी एम श्री केन्द्रीय योजना, भारत सरकार द्वारा शुरू की गई पहल।
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कौशल शिक्षा व्यावहारिक कौशल प्रदान करने पर केंद्रित है जो वास्तविक दुनिया की स्थितियों पर सीधे लागू होते हैं।
मार्गदर्शन एवं परामर्श
छात्रों के समग्र विकास को पूरा करने के लिए, हमने नियमित मार्गदर्शन और परामर्श आयोजित किया।
सामाजिक सहभागिता
हम विद्यालय के प्रभावी कामकाज के साथ-साथ छात्रों के समग्र विकास में समुदाय द्वारा निभाई जा सकने वाली
विद्यांजलि
विद्यांजलि भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय द्वारा देश भर के स्कूलों में सामुदायिक और निजी क्षेत्र की भागीदारी के माध्यम
प्रकाशन
प्रकाशन शिक्षकों और छात्रों द्वारा लिखित सृजन नामक कविताओं का एक संग्रह
समाचार पत्र
समाचार पत्र के माध्यम से उन गतिविधियों की झलकियाँ प्रस्तुत की जाती हैं, जो सत्र के दौरान हमारे युवा जाग्रत
विद्यालय पत्रिका
विद्यालय पत्रिका एक दस्तावेज़ है, जो विद्यालय की हर प्रमुख घटना को प्रकाशित करती है। यह न केवल शैक्षणिक प्रदर्शन
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श्रेष्ठ विद्यालय टॉपर्स
कक्षा 10वीं एवं 12वीं सी बी एस ई बोर्ड परीक्षा
कक्षा 10वीं
कक्षा 12वीं
विद्यालय परिणाम
वर्ष 2024 -25
सम्मिलित 174 उत्तीर्ण 174
वर्ष 2023-24
सम्मिलित 147 उत्तीर्ण 146
वर्ष 2022-23
सम्मिलित 162 उत्तीर्ण 154
वर्ष 2021-22
सम्मिलित 165 उत्तीर्ण 155
वर्ष 2024-25
सम्मिलित 120 उत्तीर्ण 118
वर्ष 2023-24
सम्मिलित 92 उत्तीर्ण 91
वर्ष 2022-23
सम्मिलित 160 उत्तीर्ण 134
वर्ष 2021-22
सम्मिलित 150 उत्तीर्ण 141